जब किसी स्त्री-पुरुष को परखना हो तो ऐसे परखें
jab kishi stri-purush ko prkhana ho to asey prkae
किसी व्यक्ति को देखकर उसके मन की बात मालूम करना आसान काम नहीं है। जिन लोगों के पास अनुभव और दूसरों को समझने की शक्ति होती है वे ही किसी इंसान को देखकर उसके विषय में कुछ समझ सकते हैं।
यदि आप भी आपके आसपास के लोगों में कोई इंसान अच्छा है या नहीं यह जानना चाहते हैं तो आचार्य चाणक्य की यह नीति अपनाएं...किसी व्यक्ति को देखकर उसके मन की बात मालूम करना आसान काम नहीं है। जिन लोगों के पास अनुभव और दूसरों को समझने की शक्ति होती है वे ही किसी इंसान को देखकर उसके विषय में कुछ समझ सकते हैं।
यदि आप भी आपके आसपास के लोगों में कोई इंसान अच्छा है या नहीं यह जानना चाहते हैं तो आचार्य चाणक्य की यह नीति अपनाएं...आचार्य चाणक्य कहते हैं कि सोना असली है या नकली, इसकी पहचान करने के लिए उसे कठीन परीक्षा से गुजरना पड़ता है। सोने को घिसकर, काटकर, तपाकर और पीटकर ही उसकी परख होती है। ठीक इसी प्रकार किसी इंसान परखने के लिए उसके चार गुणों को मुख्य रूप से देखना चाहिए। ये गुण हैं व्यक्ति की त्याग क्षमता, शील, गुण और कर्म।व्यक्ति की अच्छाई का पता लगाने के लिए सबसे पहले उसकी त्याग क्षमता देखना चाहिए। यदि वह व्यक्ति किसी के लिए कुछ त्यागने में संकोच नहीं करता है, यदि उसके चरित्र अच्छा है, उसके गुण अच्छे हैं और अन्य लोगों के प्रति उसका आचरण अच्छा है तो नि:सदेह ऐसे लोग अच्छे इंसान होते हैं।
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